अहोई अष्टमी का समय: हर साल अहोई अष्टमी का व्रत रखा जाता है। ये व्रत मताएं अपनी संतान की सलामती के लिए रखती हैं। गुरुवार को घरों में अहोई अष्टमी का पूजन किया जाएगा। इस दिन महिलाएं बिना अन्न व जल ग्रहण कर उपवास करती हैं। इस व्रत में कथा सुनने के बाद शाम के समय महिलाएं तारों को अर्घ्य देती हैं और अपनी सास आदि को बायना देकर व्रत संपूर्ण करती हैं। कुछ परिवारों में यह व्रत चंद्रमा को देखकर खोला जाता है, तो कुछ तारा देखकर व्रत खोलते हैं। आइए जानते हैं अहोई अष्टमी पर पूजा, तारे व चंद्रोदय का समय-
कल है अहोई अष्टमी 2024: ज्योतिषचार्य राहुल अग्रवाल व ज्योतिषचार्या रुचि कपूर के अनुसार, गुरुवार को अहोई अष्टमी का व्रत रखा जाएगा। इस साल यह तिथि 24 अक्तूबर को सुबह 1 बजकर 18 मिनट पर शुरू होगी और 25 को सुबह 1 बजकर 58 मिनट तक समाप्त होगी। उदया तिथि की मान्यता के अनुसार, अहोई अष्टमी का व्रत 24 को रखा जाएगा।
अहोई अष्टमी पर 1 घंटे 17 मिनट का शुभ मुहूर्त
अष्टमी तिथि प्रारम्भ – अक्टूबर 24, 2024 को 01:18 बजे
अष्टमी तिथि समाप्त – अक्टूबर 25, 2024 को 01:58 बजे
तारों को देखने का समय – 18:06
अहोई अष्टमी के दिन चन्द्रोदय समय – 23:55
अहोई अष्टमी पूजा मुहूर्त – 17:42 से 18:59
अवधि – 01 घण्टा 17 मिनट्स
अहोई अष्टमी पर सुबह से लेकर शाम की पूजा का मुहूर्त
शुभ – उत्तम 06:28 से 07:52
चर – सामान्य 10:41 से 12:05
लाभ – उन्नति 12:05 से 13:29
अमृत – सर्वोत्तम 13:29 से 14:54
शुभ – उत्तम 16:18 से 17:42 वार वेला
अमृत – सर्वोत्तम 17:42 से 19:18
चर – सामान्य 19:18 से 20:54
डिस्क्लेमर: इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम यह दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य एवं सटीक हैं। विस्तृत और अधिक जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।